Tuesday, July 16, 2013

१. 

जाने पहचाने छंद,
गीत  
बन जाते शोकगीत।
उदास तमाम पद 
लेते, 
ओढ़ मुझे।

२. 

हर नया रास्ता,
तुझ 
तक पहुच जाता।
उलझ गए हैं,
नक्शे 
ज़िन्दगी के।

३. 

बिखरी, बिसरी खुशियाँ,
पकड़ 
अब नहीं आती।
खाली हो गयी 
रेत 
भरी मुठ्ठी।








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